आवरण कथा: जेनेरिक दवाओं की तरह सस्ती क्यों नहीं है कोविड-19 वैक्सीन?
कोविड-19 वैक्सीन जेनेरिक दवाओं की तरह सस्ती क्यों नहीं हो सकती है? वैक्सीन को लेकर डाउन टू अर्थ की खास विश्लेषण की अगली कड़ी ...
गरीबों तक भी पहुंच पाएगी कोरोना वैक्सीन, 150 से भी ज्यादा देशों ने मिलाया हाथ
जिन 165 देशों ने इस समझौते में रुचि व्यक्त की है, वो दुनिया की लगभग 60 फीसदी आबादी का प्रतिनिधित्व करते हैं
कोविड-19 महामारी : अब एक साल बाद एक सताई हुई पीढ़ी
कोरोना विषाणु से पैदा हुई एक वैश्विक महामारी ने कई अनदेखी महामारियों को जन्म दे दिया है। इसके प्रभाव हमें कई दशकों तक दिखाई ...
कोरोना ने बढ़ाई एड्स पीड़ितों की मुश्किलें, नहीं हो सकेगा हासिल 2020 का लक्ष्य
2019 में करीब 17 लाख नए मामले सामने आये थे जोकि वैश्विक लक्ष्य से करीब तीन गुना ज्यादा हैं|
कोविड-19: अब क्यों जरूरी है खाने की आदतें बदलना
हमें विचार करना चाहिए कि हम जो भोजन करते हैं उसका उत्पादन कैसे होता है। इसका प्रभाव उपभोक्ता के अलावा उत्पादक और पर्यावरण पर ...
कोविड-19: आपदा को अवसर में बदलने से चूक न जाएं हम
कोविड-19 से पहले जो कोयला परियोजनाएं सफलतापूर्वक लाभ नहीं अर्जित कर रही थीं, वो अब किसी भी प्रोत्साहन पैकेज का हिस्सा नहीं होनी चाहिए
कोविड-19: यूरोप में नए मामलों की तादाद पिछले साल नवंबर के बराबर, गंभीर मामले भी बढ़े
वैक्सीन से मिली प्रतिरोधक क्षमता घट रही, हालात बिगड़ते रहे तो जनवरी 2022 में शीर्ष तक पहुंचेगी संख्या, होंगे 26 लाख मामले।
उत्तर प्रदेश में 10 मई तक बढ़ाया गया लॉकडाउन, गांवों में शुरु हुआ कोरोना जांच का सर्वेक्षण
ऑक्सीजन के मामले में प्रदेश में अब भी 1142 टन मांग के विरुद्ध 5 मई को 850 टन ऑक्सीजन की आपूर्ति की गई है। ...
शहर छोड़कर गांव जाने वाले कामगार लौटे, अब काम के लाले
असंगठित क्षेत्र के बहुत से कामगार लॉकडाउन के बाद अपने गांव चले थे लेकिन वहां काम न मिलने पर वापस लौटना पड़ा
मलेरिया के कारण हर 50 सेकंड में जा रही है एक व्यक्ति की जान
2020 में मलेरिया के चलते दुनियाभर में 627,000 लोगों की जान गई थी, जोकि पिछले साल के मुकाबले 69,000 ज्यादा है
वैज्ञानिकों ने खोजी कोविड-19 वेरिएंट के खिलाफ शक्तिशाली एंटीबॉडी
वैज्ञानिकों ने सार्स-सीओवी-2 के खिलाफ एक "अति-शक्तिशाली" मोनोक्लोनल एंटीबॉडी की खोज की है, यह कोविड-19 के अलग-अलग वेरिएंट से मुकाबला करने में सक्षम है।
संसद में आज: आंध्रप्रदेश ने माना, ऑक्सीजन की कमी से 'कुछ' लोगों की मौत हुई
भारत में 2016-17 से 2021-22 (03.08.2021 तक) की अवधि के दौरान चक्रवातों के कारण कुल 720 लोगों की जान गई
ग्रामीण भारत के लिए बाढ़ व सूखे से भी ज्यादा नुकसानदायक थी कोविड-19 की दूसरी लहर
दूसरी लहर में किसानों और खेतिहर मजदूरों के संक्रमित होने के कारण ग्रामीण सप्लाई चेन पर असर पड़ा, ऐसा पहली लहर के दौरान नहीं ...
भारत में संक्रामक ओमिक्रॉन बीएफ.7 का लगा पता, विशेषज्ञों ने दी अत्यधिक सावधानी की सलाह
दीवाली के साथ ही, विशेषज्ञों को डर है कि नया कोविड वेरिएंट घातक संक्रमण की एक नई लहर ला सकता है
2022 में 20.7 करोड़ होंगें बेरोजगार, स्थिति में सुधार के लिए करना होगा अभी और इंतजार
2019 में यह बेरोजगारों का यह आंकड़ा 18.6 करोड़ था। इसका मतलब है कि तब से लेकर 2022 के बीच इसमें 11 फीसदी यानी ...
खोज: कोविड-19 संक्रमण को रोक सकती है यह नई तकनीक
नए अध्ययन में शोधकर्ताओं ने पाया कि बीआरडी 2 के उत्पादन को रोकने से वायरस को विभिन्न प्रकार के मानव कोशिकाओं को संक्रमित करने ...
मधुमेह रोगियों के लिए कहीं ज्यादा खतरनाक है कोविड-19
कोविड-19 के साथ-साथ टाइप 1 और टाइप 2 मधुमेह से ग्रस्त रोगियों के गंभीर रूप से बीमार होने का खतरा तीन गुना ज्यादा होता ...
कोविड-19: इस बार लीपापोती से काम नहीं चलेगा
भारत अपनी जीडीपी का 1.28 प्रतिशत सार्वजनिक स्वास्थ्य सेवाओं पर खर्च करता है, जबकि चीन 3 प्रतिशत। ऐसे में अब हमें अपना एजेंडा बदलने ...
क्या है डेल्टा प्लस वैरिएंट? स्वास्थ्य के दृष्टिकोण से कितना है खतरनाक?
एक तरफ जहां देश कोरोनावायरस की तीसरी लहर का सामना करने की तैयारी कर रहा है, ऐसे में इस नए डेल्टा प्लस वैरिएंट ने ...
क्या बड़ी फार्मा कंपनियों से टकराने से बचना चाहती है भारत सरकार?
एक ओर अमीर देश जब दवाओं के अनिवार्य लाइसेंस की खूबियां तलाश रहे हैं, दूसरी ओर भारत, कोर्ट के संकेतों के बावजूद इससे मुंह ...
टीकों और संक्रमण के कारण पैदा हुई प्रतिरक्षा से बच सकता है ओमिक्रॉन वेरिएंट
हाल ही में किए एक शोध से पता चला है कि ओमिक्रॉन वेरिएंट (बी.1.1.529), टीकों और संक्रमण के कारण शरीर में पैदा हुई प्रतिरक्षा ...
पीएमजेएवाई का सच: केवल पांच लाख मरीजों को मिला फायदा, उत्तर प्रदेश-बिहार फिसड्डी
दुनिया की सबसे बड़ी सरकारी स्वास्थ्य बीमा योजना समस्याओं से घिरी हुई है। महामारी ने क्रियान्वयन में कमियों और इसके प्रति अविश्वास को अधिक ...
भारत सहित एशिया-प्रशांत क्षेत्र में रहने वाले 180 करोड़ लोगों की पहुंच से बाहर है पोषक आहार
कोविड-19 के बाद से इस क्षेत्र में भुखमरी का शिकार लोगों की संख्या में 5.4 करोड़ का इजाफा हुआ है, जिससे इस समस्या से ...
कोरोना से ठीक होने वालों में हृदय रोग का खतरा: अध्ययन
कोविड -19 की बीमारी से ठीक होने के लंबे समय के बाद ऑर्गन में खराबी जैसे परिणाम सामने आ रहे हैं लेकिन इस पर विस्तृत ...
कोरोना लॉकडाउन: मजदूर क्यों न खोते धैर्य?
अमीर अब सरकार पर सबसे ज्यादा भरोसा करते हैं, जबकि कम विशेषाधिकार लोगों का अनुभव इससे उलट रहा