वायु प्रदूषण से आंखों पर पड़ रहा है गंभीर असर: रिपोर्ट
यह अध्ययन ताइवान की आबादी पर किया गया है, लेकिन भारत में इसका असर देखा जा सकता है
नजरअंदाज किए गए उष्णकटिबंधीय रोगों और मलेरिया पर जलवायु परिवर्तन के प्रभाव का शोध बेहद जरूरी
मलेरिया और एनटीडी पर जलवायु परिवर्तन के प्रभाव का आकलन करने के लिए, जनवरी 2010 से अक्टूबर 2023 के बीच प्रकाशित सहकर्मी-समीक्षित पत्रों और ...
क्या हैं बुरांश के फायदे, लेकिन क्यों खतरे में पड़ा इसका अस्तित्व?
बुरांश के फूलों से बना शरबत हृदय रोगियों के लिए अत्यंत लाभकारी माना जाता है।
भविष्य की महामारियों के लिए तैयार नहीं है कोई भी देश, कोविड-19 ने खोली पोल
महामारी ने स्वास्थ्य के क्षेत्र के सामने अनगिनत चुनौतियां खड़ी कर दी हैं
2018 में 23,764 लोगों ने बीमारियों के चलते आत्महत्या की, पंजाब में सबसे अधिक
मानसिक रोगी और लंबे समय तक बीमारी से जूझने वाले सबसे अधिक जान दे रहे हैं
कोविड-19 के बीच जीका वायरस का खतरा बढ़ा
केरल में एक 24 वर्षीय गर्भवती महिला में जीका वायरस के पहले मामले की पुष्टि हुई है।
टाइफाइड के खतरनाक बैक्टीरिया को खत्म कर सकता है टमाटर का रस, रिसर्च में खुलासा
रिसर्च से पता चला है कि टमाटर में मौजूद अदभुत गुण 'साल्मोनेला टाइफी' जैसे हानिकारक बैक्टीरिया को भी खत्म कर सकते हैं, जो टाइफाइड ...
घातक बीमारियों को फैलाने वाले आक्रामक मच्छरों की निगरानी के लिए लॉन्च हुआ डैशबोर्ड
डैशबोर्ड तीन ऐप के आंकड़ों को जोड़ता है, मॉस्किटो अलर्ट, ग्लोब ऑब्जर्वर और आईनेचुरलिस्ट, जहां दुनिया भर के लोग अपने स्मार्टफोन का उपयोग करके ...
यह चिप बता सकती है कोविड-19 का 99.9 फीसदी सटीक परिणाम
इस तकनीक के जरिए वैज्ञानिक अधिक सटीकता से कोरोना का पता लगा सकते हैं, साथ ही इसके द्वारा कोरोना के नए वेरिएंट की उपस्थिति ...
भारत में 2020 के दौरान सामने आए टीबी के 25 फीसदी कम मामले, क्या कोरोना था उसकी वजह?
जहां देश में 2019 के दौरान टीबी के 21.6 लाख मामले नए और दोबारा सामने आए थे, वो 2020 में घटकर 16.2 लाख रह ...
धान के पौधों को बीमारियों से बचाने वाले जीवाणु की पहचान
वैज्ञानिकों ने धान के पौधों के बीज के अंदर एक विशिष्ट जीवाणु की पहचान की है, जो प्रभावी और पर्यावरण के अनुकूल तरीके से ...
डॉल्फिन की त्वचा के 70 फीसदी हिस्से में हुआ रोग, जलवायु परिवर्तन है जिम्मेवार
इस अध्ययन में पहली बार ताजे पानी वाली बॉटलनोज़ डॉल्फ़िन की त्वचा की बीमारी के बारे में विस्तार से बताया गया है।
कृत्रिम रूप से बने मीठे पेय हृदय के लिए घातक: शोध
कृत्रिम रूप से बने मीठे पेय पदार्थ स्वस्थ विकल्प नहीं हो सकते हैं, जो अक्सर ऐसा होने का दावा करते हैं।
कोरोना से “रिकवरी” का मतलब पूरी तरह ठीक होना नहीं
संक्रमित की रिपोर्ट नेगेटिव आने पर उसे रिकवर मान लिया जाता है और सरकार भी इसका श्रेय लेकर अपनी पीठ थपथपा लेती है। लेकिन ...
शिक्षा पर अपना भी हक जताना चाहती हैं कश्मीर की ये लड़कियां
घरेलू हिंसा न केवल भारत की समस्या है, बल्कि पूरा विश्व इस भयावह स्थिति से गुजर रहा हैं
बदलती जलवायु में खुद को ढालने के लिए अतीत की यादों का उपयोग करते हैं पौधे
जलवायु परिवर्तन के अनुकूल होने के लिए पौधे अपनी 'एपिजेनेटिक मेमोरी' का उपयोग करते हैं। हैरानी की बात है कि वो अपनी इन यादों ...
50 साल पहले की तुलना में आज 50 प्रतिशत कम हुआ मधुमक्खियों का जीवनकाल
अध्ययन के अनुसार मधुमक्खियों का जीवन काल जो कि 1970 के दशक में 34.3 दिन था आज यह घट कर 17.7 दिन रह गया ...
स्वस्थ जीवनशैली बचा सकती है हृदय रोग से
जिनको जीन्स की गड़बड़ी के कारण हृदय रोगों से ग्रस्त होने का खतरा रहता है, वे स्वस्थ जीवन शैली और बेहतर खानपान अपनाकर मधुमेह ...
वैज्ञानिकों ने खोजे गेहूं में रोग प्रतिरोधी जींस
भारतीय वैज्ञानिकों ने गेहूं के ऐसे नमूनों की पहचान की है जिनमें पत्तियों में होने वाले रतुआ रोग से लड़ने की अनुवांशिक क्षमता पायी ...
क्या जूनोटिक रोगों का हॉटस्पॉट बन सकता है भारत?
अध्ययन में कहा गया है कि कम से कम 10 हजार वायरस प्रजातियों के लोगों को संक्रमित करने के आसार हैं
विश्व लीवर दिवस - 19 अप्रैल: जानें अपने लीवर को स्वस्थ रखने के आसान टिप्स
लीवर की बीमारी का आमतौर पर तब तक कोई स्पष्ट संकेत या लक्षण नहीं दिखता है जब तक कि यह काफी जटिल न हो ...
मोटापे और हृदय रोग से निपटने के लिए यूटीएसए के शोधकर्ताओं ने खोजा नया उपचार
वैज्ञानिकों द्वारा खोजी गई यह दवा साइटोक्रोम पी450 8बीक1 के प्रभाव को रोक सकती है, यह एंजाइम कोलेस्ट्रॉल को सोख लेता है और मोटापे ...
अनिल अग्रवाल डायलॉग: जलवायु परिवर्तन की वजह से बढ़ रही हैं जूनोटिक बीमारियां
मनुष्यों में 60 फीसदी से अधिक संक्रामक रोगों के लिए जंगली जीव जिम्मेवार हैं और इनसे हर साल 30 लाख लोगों जान चली जाती ...
क्या आपके शरीर में गांठ या लिपोमा है, क्या होता है लिपोमा, कितना खतरनाक है, यहां जानें
लिपोमा बहुत आम हैं, हर 1,000 लोगों में से लगभग एक व्यक्ति को लिपोमा होता है, लिपोमा अधिकतर 40 से 60 वर्ष की उम्र ...
चिंताजनक: मनुष्य के हृदय के ऊतकों में पाया गया माइक्रोप्लास्टिक
शोधकर्ताओं ने हृदय के ऊतकों में पॉलीएथिलीन टेरिफ्थेलैट, पॉलीविनाइल क्लोराइड और मिथाइल थाक्रिलेट सहित आठ प्रकार के प्लास्टिक से बने 20 से 500 माइक्रोमीटर ...