जलवायु परिवर्तन के कारण अंटार्कटिका में सीलों पर मंडराया रहने और खाने का संकट
शोध से पता चलता है कि सुरक्षित जगहों पर भी क्रैबेटर सीलों को पहले से ही प्रजनन और निवास स्थान के नुकसान का खतरा ...
मधुमक्खियों के विनाश का कारण बन रहे हैं कीटनाशक: अध्ययन
मधुमक्खियों की छह प्रजातियों में से एक दुनिया में कहीं न कहीं स्थानीय रूप से विलुप्त हो चुकी है
कैसे हो नदियों के डेल्टा और वहां रहने वाले लोगों के बीच संतुलन?
अध्ययन में नदी प्रणालियों को मोड़ने के लिए सबसे अच्छी जगह का विश्लेषण किया है, जो प्राकृतिक तौर पर बनाई गई संरचनाएं हैं, जो ...
फसल की पैदावार बनाए रखने के लिए मधुमक्खियों की कितनी और प्रजातियों की जरूरत होगी?
मधुमक्खी आबादी की विविधता फसल परागण को बनाए रखने के लिए जरूरी है, जो हम लोगों की खाद्य आपूर्ति के लिए महत्वपूर्ण है।
90 फीसदी से ज्यादा ‘आयल स्लीक्स’ के लिए जिम्मेवार है इंसान, समुद्री जीवों के लिए है बड़ा खतरा
'आयल स्लीक्स' के करीब आधे मामले तटों के लगभग 25 मील के दायरे में पाए गए, जबकि 90 फीसदी का दायरा 100 मील से ...
जीवों के प्रजनन संबंधी व्यवहार पर असर डाल रहा है ग्लोबल वार्मिंग: अध्ययन
शोध का उद्देश्य जानवरों में प्रजनन के पैटर्न पर जलवायु परिवर्तन के पड़ने वाले प्रभावों पर समझ बढ़ाना है
महासागरीय पारिस्थितिकी तंत्र में बड़ा फेरबदल कर सकता है छोटे से छोटा परमाणु युद्ध
वैज्ञानिकों का कहना है कि इस युद्ध के चलते ऐसी तबाही आएगी, जिससे उबरने में समुद्री पारिस्थितिकी तंत्र को दशकों का समय लग जाएगा
पिछले 50 वर्षों में 70 फीसदी सिकुड़ चुका है पेटो ग्लेशियर, क्या बदलती जलवायु है जिम्मेवार?
विशेषज्ञों का अनुमान है कि यदि ऐसा ही चलता रहा तो सदी के अंत तक यह ग्लेशियर 85 फीसदी तक सिकुड़ जाएगा
वैज्ञानिकों ने अति दुर्लभ कीट 'लीफ हॉपर' की नई प्रजाति की खोज की
एक ब्रिटिश वैज्ञानिक ने एक नई प्रजाति की खोज की है जो दुर्लभ कीड़ों के समूह से संबंध रखता है। इसके सबसे निकटतम रिश्तेदार ...
ओजोन प्रदूषण क्या है, इसका हम पर और पर्यावरण पर किस तरह के असर पड़ते हैं?
स्टेट ऑफ एयर रिपोर्ट 2020 के मुताबिक दुनिया भर में क्रोनिक ऑब्सट्रक्टिव पल्मोनरी डिजीज (सीओपीडी) से होने वाली हर 9 में से 1 मौत ...
2050 में मछलियों के कुल वजन से भी ज्यादा होगा महासागरों में प्लास्टिक
अनुमान है कि महासागरों में पहुंच चुके कुल प्लास्टिक कचरे की मात्रा 2025 में करीब 25 करोड़ टन होगी, जो 2040 तक बढ़कर 70 ...
महासागरों में प्रवेश करने से पहले बरसों तक नदियों में रहता है माइक्रोप्लास्टिक
यह पूरे जल प्रवाह में प्लास्टिक प्रदूषण के स्रोतों से ताजे या मीठे पानी में माइक्रोप्लास्टिक के मिलने और जमा होने के समय का ...
मसूरी और उसके आसपास के इलाकों पर मंडरा रहा है बड़े भूस्खलन का खतरा
शोध के अनुसार मसूरी के आसपास का 15 फीसदी हिस्सा भूस्खलन की दृष्टि से अतिसंवेदनशील है, जबकि 56 फीसदी हिस्से में बहुत बड़े स्तर ...
बड़ी मात्रा में कार्बन डाइऑक्साइड छोड़ रही हैं हिमालय की गर्म पानी की धाराएं
हिमालय में मौजूद जियोथर्मल स्प्रिंग्स बड़ी मात्रा में कार्बन डाइऑक्साइड को वातावरण में छोड़ रहे हैं, जिससे न केवल वहां के स्थानीय वातावरण बल्कि ...
वैश्विक उत्सर्जन में तीव्र वृद्धि से 2050 तक 94 फीसदी प्रवाल भित्तियां हो जाएंगी खत्म
हालांकि उम्मीदें अभी पूरी तरह खत्म नहीं हुई हैं, हमारे पास अभी भी इन प्रवाल भित्तियों को बचाने का समय है पर वो समय ...
पिछले 50 वर्षों में 70 फीसदी से ज्यादा घटी शार्क और रे मछलियों की आबादी
समुद्री शार्क की 31 में से 16 प्रजातियां गंभीर खतरे में हैं जबकि तीन प्रजातियों समुद्री वाइटटिप शार्क, स्कैलप्ड हैमरहेड शार्क और ग्रेट हैमरहेड ...
हर दिन दो करोड़ से अधिक मइक्रोप्लास्टिक के कणों को निगल रही हैं ग्रे व्हेल: अध्ययन
व्हेल के मल में कुल 418 संदिग्ध माइक्रोपार्टिकल की पहचान की गई, जिनमें से 50 फीसदी से अधिक में रेशे या फाइबर थे
माइक्रोप्लास्टिक से गर्म हो रही है रेत, समुद्री कछुओं के विकास पर पड़ सकता है बुरा असर
शोध में पाया गया कि माइक्रोप्लास्टिक की अत्यधिक मात्रा समुद्र तट की रेत के तापमान को बढ़ा सकती है जिससे समुद्री कछुओं के विकास ...
पहले से ही विलुप्त, कोबरा जैसे सांप की नई प्रजाति ‘न्यांगेंसिस’ की हुई खोज
जंगलों के परिदृश्य में हुए भारी बदलाव के बाद, जिम्बाब्वे के रिन्खाल को 1988 के बाद से जंगल में नहीं देखा गया है और ...
इंसानी हस्तक्षेप के कारण सिकुड़ रहा है नार्थ अटलांटिक राइट व्हेल्स का आकार
जलवायु परिवर्तन और इंसानी प्रभाव के चलते पिछले 20 वर्षों में इनके आकार में करीब 3 फीट की कमी आई है, जोकि इनके कुल आकार का करीब 7 फीसदी है
दूर-दराज के क्षेत्रों में भी इंसानों से सुरक्षित नहीं जैव विविधता, जानिए क्या है वजह
शोधकर्ताओं के अनुसार जलवायु परिवर्तन और वैश्विक पर्यावरण में आते बदलावों के चलते दुनिया में इंसानों की पहुंच से दूर होने के बावजूद भी ...
वैज्ञानिकों ने पूर्वी उष्णकटिबंधीय प्रशांत महासागर में ढूंढी बॉटलनोज डॉल्फिन की नई उप प्रजाति
यह नई उप-प्रजाति, जिन्हें ईस्टर्न ट्रॉपिकल पैसिफिक बॉटलनोज डॉल्फिन (टर्सिओप्स ट्रंकैटस नुआनू ) कहा जाता है, अन्य सामान्य बॉटलनोज डॉल्फिन से छोटी हैं
जलवायु परिवर्तन और इंसानी गतिविधियों के चलते दुनिया भर में पैदा हो रही नई झीलें
35 वर्षों के दौरान वैश्विक स्तर पर झीलों के कुल क्षेत्रफल में 46,278 वर्ग किलोमीटर की वृद्धि हुई है। हालांकि इसमें से 56 फीसदी ...
कीटनाशकों के बढ़ते उपयोग से फैल रही है सिस्टोसोमियासिस नामक बीमारी
बढ़ते कीटनाशकों का उपयोग, इंसानों में सिस्टोसोमियासिस नामक बीमारी के खतरे को भी बढ़ा रहा है| यह बीमारी लीवर और किडनी तक को ख़राब ...
अकेले वर्षावन ही नहीं, दुनिया के सभी जंगलों को बचाना है जरुरी: वैज्ञानिक
शोध के अनुसार समशीतोष्ण और उष्णकटिबंधीय शुष्क वनों में पेड़ों की करीब 30 फीसदी प्रजातियों का विकास हुआ है| जिन्हें बचाना जरुरी है