कोविड-19: पहले क्लिनिकल ट्रायल में “रेमडेसिवियर” का नहीं दिखा असर
लैंसेट के निष्कर्ष, गिलीड के नतीजों के उलट है। गिलिड ने रोगियों में सुधार का दावा किया था...
रेफ्रिजेरेटेड या फ्रोजन मीट में एक महीने तक जीवित रह सकता है सार्स-कोव-2 वायरस, शोध में हुआ खुलासा
वैज्ञानिकों के मुताबिक सार्स-कोव-2 वायरस, रेफ्रिजेरेटेड या फ्रोजन मीट और फिश में करीब 30 दिनों तक जीवित रह सकता है और संक्रमण की वजह ...
बच्चों में कोविड-19: संक्रमण ही नहीं, लॉन्ग कोविड के भी शिकार हो रहे बच्चे
अगर आप ये सोचते हैं कि वयस्कों ने कोविड-19 महामारी में बहुत दिक्कतें झेलीं, तो आप बच्चों के बारे में सोचिए उन्होंने कितना झेला ...
डेढ़ साल बाद 25 करोड़ बच्चे स्कूल लौटे, लेकिन कुछ बदलाव हैं जरूरी
नेशनल कोएलिशन ऑन एजुकेशन इमरजेंसी ने शोधपत्र जारी कर कहा है कि डेढ़ साल बाद शुरू हो रहे स्कूलों के पाठ्यक्रम में बदलाव किया ...
क्या मास्क के बिना घर के अंदर दो मीटर की दूरी से नहीं फैलेगा कोरोनावायरस?
जब लोगों ने मास्क नहीं पहना होता है तो हवा के जरिए फैलने वाले 70 फीसदी कण, 30 सेकेंडों के ही भीतर दो मीटर ...
वैक्सीन की जमाखोरी से बढ़ सकता है कोविड-19 संक्रमण और नए वैरिएंट का खतरा
वैश्विक स्तर पर 31.8 फीसदी आबादी को टीके की पहली खुराक दी जा चुकी है वहीं यदि कमजोर देशों की बात करें तो वहां ...
कोविड-19: जर्जर ढांचे पर महामारी का बोझ
सरकार को ग्रामीण स्वास्थ्य सेवा के बुनियादी ढांचे और इस तक सभी लोगों की नि:शुल्क पहुंच की अहमियत को महसूस करने के लिए महामारी ...
कोवैक्सीन रॉयल्टी का दिलचस्प मामला, क्यों उठ रहे हैं सवाल
वैक्सीन की बौद्धिक संपदा स्वामित्व पर आईसीएमआर के विरोधाभासी बयानों से कोविड-19 के खिलाफ लड़ाई में मदद नहीं मिल पा रही है
ओमिक्रॉन वेरिएंट से बचाव के लिए टीके की तीसरी खुराक जरूरी?
ओमिक्रॉन वेरिएंट के खिलाफ टीके का असर कैसे कमजोर पड़ता है, इसका वैश्विक स्तर पर पहली बार ब्रिटिश वैज्ञानिकों ने अध्ययन किया
दुनियाभर में कोरोनावायरस के सामने आये हैं केवल 6 फीसदी मामले
दुनिया भर में संक्रमण के केवल 6 फीसदी मामले ही सामने आये हैं। जबकि गोटिंगन विश्वविद्यालय द्वारा किये शोध के अनुसार मरीजों की संख्या ...
उत्तराखंड में रिवर्स पलायन: अर्थ और विकास नीति में व्यापक बदलाव की जरूरत
पहाड़ और मैदान के बीच भेदभाव दूर करने के लिए अर्थ और विकास नीति में व्यापक बदलाव करना होगा
जग बीती : गिरता ऑक्सीजन लेवल
भारत में कोविड के सब वेरिएंट जेएन.1 के 21 मामले सामने आए, विश्व स्वास्थ्य संगठन हुआ गंभीर
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया का कहना है कि हमें सतर्क रहने की जरूरत है, लेकिन घबराने की जरूरत नहीं है
पटरी से उतरी दिल्ली के रेहड़ी-पटरी वालों की जिंदगी
लॉकडाउन के बाद गांव नहीं जाने वालों और लौटकर आने वाले दिल्ली के पटरी दुकानदारों के सामने भुखमरी की स्थिति है
कोरोनावायरस की जांच के लिए वैज्ञानिकों ने बनाई नई तकनीक
नई तकनीक न केवल स्वास्थ्य देखभाल केंद्रों को भीड़-भाड़ से बचाने में उपयोगी होगी, बल्कि यह स्वास्थ्य देखभाल संसाधनों की गंभीर कमी को भी ...
कोरोनावायरस की जांच के लिए नई तकनीक विकसित करने का दावा
शोधकर्ताओं ने प्लास्मोनिक फोटोथर्मल सेंसिंग के आधार पर कोरोनावायरस (कोविड-19) की अधिक सटीक जांच करने का तरीका विकसित करने का दावा किया है
बराबर नहीं हर एक लिए व्यथा की अभिव्यक्ति
हर किसी के लिए कोरोना की आप बीती अलग रही है, इसलिए हर कोई अपने- अपने नजरिये से देखने और समझने का प्रयास कर ...
देश मांगे ऑक्सीजन : बिहार में भी ऑक्सीजन की किल्लत, मरीजों को छुट्टी दे रहे अस्पताल
बिहार में 70 मिट्रिक टन ऑक्सीजन की खपत होती थी, लेकिन कोविड-19 का संक्रमण बढ़ने से इसकी मांग बढ़ गई है, क्योंकि कोविड-19 संक्रमित ...
भारत का लॉकडाउन से सबसे अधिक प्रभावित होंगे प्रवासी मजदूर और महिलाएं
लॉकडाउन होने के बाद प्रवासी मजदूरों और महिलाओं के ऊपर समस्याओं का पहाड़ टूट पड़ा है और उनके लिए खाद्य और स्वास्थ्य सुरक्षा का ...
देश के 15 जिलों की जमीनी पड़ताल-5 : पहली लहर से अछूते जिलों में पहुुंचा कोरोना
कोविड-19 की दूसरी लहर ने उत्तराखंड और मध्य प्रदेश के किन जिलों को प्रभावित किया, पढ़ें-
भारतीय वैज्ञानिकों का दावा, मशरूम में है कोविड-19 और अन्य वायरल संक्रमणों से लड़ने की अनूठी क्षमता
रिसर्च से पता चला है कि मशरूम पोषण के साथ-साथ औषधीय गुणों से संपन्न होता है। यह इम्युनिटी बढ़ाने के साथ शरीर की वायरस ...
कोरोनावायरस: हिमाचल के बस दो जिले ही बचे हैं ग्रीन
तीन मई तक हिमाचल प्रदेश के 6 जिले ग्रीन जोन में थे, लेकिन प्रवासियों का आगमन बढ़ने के बाद अब 4 जिले रेड जोन ...
वैक्सीन न लेने वालों की वजह से उन लोगों में भी बढ़ सकता है संक्रमण का खतरा जो लगवा चुके हैं टीके
शोध के मुताबिक वैक्सीन न लेने वाले लोग, उनके लिए भी संक्रमण के खतरे को बढ़ा सकते हैं जो पहले ही वैक्सीन ले चुके ...
दो साल बाद: किस हाल में है भारत की पहली कोविड-19 पॉजीटिव
भारत में कोविड-19 की पहली शिकार महामारी के तीसरे साल में अपने दोहरे संक्रमण के साथ, इसकी विभीषिका को याद कर रही है
पांचवा भाग : कोविड की लंबी अवधि के लिए भारत तैयार नहीं, पढ़िए साक्षात्कार
सार्वजनिक स्वास्थ्य विश्लेषक और महामारी विज्ञानी चंद्रकांत लहरिया ने ओमिक्रॉन के सामने आने के बाद क्या उम्मीद की जाए, इस पर तरन देओल से ...