खदानों से बचे अवशेष और कचरे से खतरे में है संवेदनशील पारिस्थितिकी तंत्र
रिसर्च से पता चला है कि नौ फीसदी खनन अवशेष भंडारण सुविधाएं संरक्षित क्षेत्रों के भीतर, जबकि 20 फीसदी संरक्षित क्षेत्रों के पांच किलोमीटर ...
लुप्तप्राय प्रजातियों को बचाने में मदद कर सकते हैं तकनीक और अर्थनीति, लेकिन कैसे?
शोध के मुताबिक, लुप्तप्राय प्रजातियों को बचाने के लिए तकनीक से आंकड़ों को जोड़ने, दुनिया के विभिन्न क्षेत्रों को जोड़ने, लोगों को प्रकृति से ...
भारत के पश्चिमी घाट में अनोखे जननांग वाले केकड़े की लाल रंग की नई प्रजाति की हुई खोज
अध्ययन में कहा गया है कि रक्त के समान लाल रंग का घाट में रहने वाला केकड़ा लगभग 1.1 इंच चौड़ा और लगभग 0.7 ...
पारिस्थितिकी तंत्र से होने वाले फायदों में साल 2100 तक 9 फीसदी की गिरावट आने के आसार
शोध में पाया गया कि दुनिया के सबसे गरीब 50 फीसदी देशों और क्षेत्रों को सकल घरेलू उत्पाद का 90 फीसदी तक नुकसान उठाना ...
नदियों के लिए अंतर्राष्ट्रीय कार्रवाई दिवस: क्या है इतिहास, थीम, महत्व यहां जानें
मीठे या ताजे पानी की प्रजातियों में 1970 के बाद से 83 प्रतिशत की गिरावट देखी गई है
टाइम बम की तरह हैं आक्रामक पौधे, जैव विविधता को पहुंचा रहे हैं भारी नुकसान
शोध टीम ने पाया कि जिन आक्रामक पौधों का उन्होंने विश्लेषण किया, उनमें से लगभग एक-तिहाई के तीव्र विस्तार के बीच की अवधि का ...
पक्षियों की 12 फीसदी प्रजातियों के लिए काल बन चुका है इंसान
रिसर्च से पता चला है कि आधुनिक मानव इतिहास में पक्षियों की करीब 1,430 प्रजातियां विलुप्त हो चुकी हैं। इनमें से अधिकांश के लिए ...
अधिक संख्या में पाई जाने वाली प्रजातियों के गायब होने से कीटों की संख्या में आ रही है गिरावट: शोध
अध्ययन के निष्कर्ष इस विचार को चुनौती देते हैं कि कीट जैव विविधता में बदलाव दुर्लभ प्रजातियों के गायब होने के कारण होता है।
पौधों और कवकों की शीर्ष दस प्रजातियों को दिया गया नया वैज्ञानिक नाम
रॉयल बोटेनिक गार्डन, केव के वैज्ञानिकों ने अंतरराष्ट्रीय शोधकर्ताओं के साथ मिलकर 2023 में विज्ञान के लिए नए शीर्ष 10 पौधों और कवकों की ...
थोड़े से फायदे के लिए जैव विविधता के लिए खतरा बना व्यावसायिक वृक्षारोपण: पारिस्थितिकीविद्
शोध में कहा गया है कि ऐसी जगहें जहां पहले से कार्बन जमा करने वाले पारिस्थिकी तंत्र है, वहां जबरन वृक्षारोपण करने से इनको ...
कवकों की 20 लाख से ज्यादा प्रजातियों से अनजान दुनिया, महज 155,000 को किया जा सका है दर्ज
दुनिया में फंगी यानी कवकों को 25 लाख से ज्यादा प्रजातियां हैं, जिनमें 90 फीसदी से भी ज्यादा से दुनिया अनजान है
जानिए क्यों विदेशी जानवरों की सुरक्षा के लिए दायर जनहित याचिका को त्रिपुरा हाईकोर्ट ने किया खारिज
यहां पढ़िए पर्यावरण सम्बन्धी मामलों के विषय में अदालती आदेशों का सार
जालौन में रेत खनन के लिए कैसे दे दी गई पर्यावरण मंजूरी, आवेदक ने समिति रिपोर्ट पर भी जताई आपत्ति
2023 की एक झलक: विज्ञान से जुड़ी दस अविस्मरणीय तस्वीरें
इनमें से हर एक तस्वीर ब्रह्मांड के अनसुलझे रहस्यों को सुलझाने में मानवता द्वारा उठाए कदमों का जीता जागता प्रमाण है
पक्षियों को शहरों की ओर आकर्षित कर रहा है कृत्रिम प्रकाश, बन रहा है उनकी मौत का कारण
प्रकाश प्रदूषण लोगों को भी नुकसान पहुंचाता है, इसके कारण मनुष्यों की सर्कैडियन लय बाधित हो सकती है, जिससे अवसाद, अनिद्रा, हृदय रोग और ...
ताजे पानी की एक चौथाई मछलियों पर मंडरा रहा है विलुप्त होने का खतरा: आईयूसीएन
रिपोर्ट के मुताबिक जलवायु परिवर्तन, प्रदूषण और बेतहाशा किया जा रहा शिकार इन प्रजातियों के लिए बड़ा खतरा बन चुका है
जानिए क्यों सांभर फेस्टिवल पर लटकी एनजीटी की तलवार
पृथ्वी की हर पांचवी प्रजाति का घर हैं विश्व धरोहर स्थल, जैवविविधता के संरक्षण में निभाते हैं अहम भूमिका
यह स्थल दुनिया की कुछ ऐसी प्रजातियों की रक्षा कर रहे हैं जो पृथ्वी पर केवल यही बची हैं।
जलवायु परिवर्तन के कारण कौन से जीव हैं विलुप्त होने के कगार पर, अध्ययन में लगाया पता
शोधकर्ताओं ने 9,200 से अधिक प्रजातियों को कवर करने वाले 290,000 से अधिक जीवाश्म रिकॉर्ड का उपयोग करते हुए, प्रमुख लक्षणों का एक डेटासेट ...
अनुमान से कहीं ज्यादा है प्रकृति के नुकसान की कीमत, वैज्ञानिकों ने दी चेतावनी
शोधकर्ताओं का सुझाव है कि सरकारें भावी पीढ़ियों के लिए जैव विविधता और प्रकृति के संरक्षण से होने वाले फायदों की गणना के लिए ...
भारतीय वैज्ञानिकों ने ओडिशा के कोरापुट में खोजी केंचुओं की दो नई प्रजातियां
इस खोज के साथ दुनिया में मेगास्कोलेक्स प्रजातियों की कुल संख्या अब बढ़कर 70 हो गई है, जिनमें से 34 भारत में पाई जाती ...
नई-नई महामारियों को रोकने की चाबी है जैव विविधता का संरक्षण: अध्ययन
वैज्ञानिकों की एक अंतरराष्ट्रीय टीम ने प्राकृतिक क्षेत्रों को संरक्षित करके और जैव विविधता को बढ़ावा देकर अगली महामारी को कैसे रोका जाए, इसके ...
वैज्ञानिकों ने दक्षिणी पश्चिमी घाट में एक नई छिपकली की प्रजाति 'वान गॉग' की खोज
नेमास्पिस वांगोघी एक छोटे आकार की छिपकली है जिसकी लंबाई 3.4 सेमी तक हो सकती है, इसे इसके वंश की एक अन्य प्रजाति, सेनेमास्पिस ...
तटीय देशों के आपसी सहयोग से सुधर सकता है दक्षिण एशिया में एक अरब लोगों का भविष्य: रिपोर्ट
रिपोर्ट के मुताबिक, 11.4 करोड़ लोग पानी, बिजली, भोजन, कृषि और मछली पकड़ने के लिए ब्रह्मपुत्र नदी घाटी पर निर्भर हैं
90 प्रतिशत से अधिक प्रजातियों का अस्तित्व भूजल पर टिका है: अध्ययन
अध्ययन के मुताबिक, भूजल पर निर्भर पारिस्थितिक तंत्र जैसे आर्द्रभूमि, बाढ़ के मैदान और तटवर्ती क्षेत्र का जैव विविधता पर बहुत अधिक महत्व है।