मौसम अपडेट: चक्रवाती तूफान तौकते के चलते केरल सहित लक्षद्वीप द्वीप के निचले इलाकों के जलमग्न होने के आसार, रेड अलर्ट जारी

18 मई की सुबह तौकते तूफान के गुजरात तट के आसपास पहुंचने की आशंका है, जिसके चलते 16 मई से गुजरात में भारी बारिश के आसार हैं

By Dayanidhi

On: Saturday 15 May 2021
 
Photo : Wikimedia Commons

भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) के अनुसार, लक्षद्वीप और उससे सटे दक्षिण-पूर्व और पूर्व-मध्य अरब सागर के ऊपर कम दबाव का क्षेत्र लगातार बना हुआ है। लक्षद्वीप क्षेत्र और उससे सटे दक्षिण-पूर्व और पूर्व मध्य अरब सागर में एक चक्रवाती तूफान अब “तौकते” में बदल गया है।

पूर्व मध्य और आसपास के दक्षिण-पूर्व अरब सागर और लक्षद्वीप क्षेत्र के ऊपर चक्रवाती तूफान "तौकते" पिछले 06 घंटों के दौरान लगभग 09 किमी प्रति घंटे की गति के साथ उत्तर-उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ रहा है। अमिनी दिवि के उत्तर, उत्तर-पश्चिम में लगभग 160 किमी, पंजिम-गोवा से 350 किमी दक्षिण, दक्षिण पश्चिम, वेरावल (गुजरात) से 960 किमी दक्षिण, दक्षिण पूर्व और 1050 किमी दक्षिण  कराची (पाकिस्तान) के दक्षिण-पूर्व में है।

इसके अगले 12 घंटों के दौरान भयंकर चक्रवाती तूफान में बदलने की आशंका है। इसके उत्तर, उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ने और 18 मई की दोपहर या शाम के आसपास पोरबंदर और नलिया के बीच गुजरात तट को पार करने का अनुमान है।

इसके प्रभाव के चलते 15 मई को लक्षद्वीप में कुछ स्थानों में बहुत भारी बारिश होने का अनुमान है  16 मई को केरल में कुछ स्थानों में भारी बारिश होेने तथा 16-17 मई को इसके निकटवर्ती अलग-अलग स्थानों पर बहुत भारी वर्षा होने की आशंका है। 15 मई को तमिलनाडु के घाट जिले में अलग-अलग स्थानों पर भयंकर बारिश होने का अनुमान है। दक्षिण आंतरिक कर्नाटक के तटीय और आस-पास के घाट जिले में कुछ स्थानों में बहुत भारी बारिश होने के आसार हैं।

अगले 24 घंटों के दौरान उत्तर पश्चिम भारत के मैदानी इलाकों में अलग-अलग जगहों पर बिजली गिरने, तेज हवाओं के साथ मूसलाधार बारिश होने का अनुमान है। साथ ही अगले 12 घंटों के दौरान उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में भी भारी वर्षा के आसार हैं।

दक्षिण-पूर्व से चक्रवाती तूफान बढ़ रहा है, जिसके चलते झारखंड और पश्चिम बंगाल में गंगा के तटीय इलाकों, असम से लेकर आस-पास के क्षेत्रों में गरज के साथ भारी बारिश होने का अनुमान है। सिक्किम और पूर्वी भारत के बाकी हिस्सों में अगले 2 दिनों में बारिश होने, गरज के साथ बौछारें पड़ने के बाद मौसम संबंधी गतिविधि की तीव्रता के कम होने का अनुमान है।

15 मई को उत्तरी कोंकण में अलग-अलग जगहों में भारी बारिश होने और 16 मई को इसके निकटवर्ती इलाकों में मूसलाधार बारिश होने का अनुमान है। 16 मई से गुजरात में बारिश शुरू होने का अनुमान है, बाद के 2 दिनों के दौरान सौराष्ट्र के तटीय जिले में अलग-अलग स्थानों पर भारी बारिश हो सकती है। 16 और 17 मई  को कुछ स्थानों पर  बहुत भारी वर्षा होने और 18 मई को सौराष्ट्र और कच्छ में अलग-अलग स्थानों पर बहुत भारी वर्षा होने के आसार हैं। 17 और 18 मई को दक्षिण-पश्चिम राजस्थान के अलग-अलग हिस्सों में भारी वर्षा होने का अनुमान लगाया गया है।

आगामी 4-5 दिनों में बंगाल की खाड़ी से पश्चिम, दक्षिण-पश्चिम की ओर से तेज हवाए चलने का अनुमान है, जिसके चलते इससे सटे अलग-अलग हिस्सों में भारी बारिश होने के साथ ही 17 मई को भी वर्षा संबंधी गतिविधि के बढ़ने की आशंका जताई गई है। 

कल कहां हुई भारी बारिश और कहां पड़ी बौछारें

बीते दिन 8:30 से 5:30 बजे के दौरान केरल और माहे और लक्षद्वीप में अधिकांश स्थानों पर, नागालैंड, मणिपुर, मिजोरम और त्रिपुरा में कई स्थानों पर, उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल और सिक्किम, मध्य महाराष्ट्र, तटीय कर्नाटक और अंडमान और निकोबार द्वीप समूह में कुछ स्थानों पर और असम और मेघालय, हिमाचल प्रदेश, पश्चिम उत्तर प्रदेश, दक्षिण आंतरिक कर्नाटक और तमिलनाडु, पुडुचेरी और कराईकल में अलग-अलग स्थानों में बारिश हुई तथा कई जगहों पर गरज के साथ बौछारें पड़ी।

कल कहां कितनी वर्षा रिकॉर्ड की गई

कल यानी 14 मई को 8:30 बजे से 5:30 बजे के दौरान कोचीन में 8 सेमी, कैलाशहर में 5 सेमी, अलापुजा और पुनालुर प्रत्येक जगह 4 सेमी,पोर्ट ब्लेयर में 3 समी, महाबलेश्वर, तिरुवनंतपुरम और अगाथी प्रत्येक जगह 2 सेमी, गंगटोक, कारवार, तिरुत्तानी, वलपराई, कन्याकुमारी, कन्नूर और त्रिशूर प्रत्येक जगह में 1 सेमी वर्षा रिकॉर्ड की गई।

14 मई को 8:30 बजे से 5:30 बजे के दौरान केरल और माहे में अलग-अलग स्थानों पर भारी वर्षा हुई

कल कहां चली आंधी और कहां पड़ी गरज के साथ बौछारें

14 मई को 8:30 बजे के दौरान जम्मू, कश्मीर, लद्दाख, गिलगित-बाल्टिस्तान और मुजफ्फराबाद, हिमाचल प्रदेश, उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल और सिक्किम, उत्तर प्रदेश, पश्चिम राजस्थान, बिहार, सौराष्ट्र और अलग-अलग स्थानों पर, कच्छ, कोंकण और गोवा, मध्य महाराष्ट्र, विदर्भ, तेलंगाना, तटीय और उत्तर आंतरिक कर्नाटक, तटीय आंध्र प्रदेश और यनम, असम, मेघालय, नागालैंड, मणिपुर, मिजोरम और त्रिपुरा में गरज के साथ बौछारें पड़ी, इन जगहों पर आज 5:30 बजे के दौरान इसी तरह की गतिविधि के आसार बन रहे हैं।

सबसे अधिक तापमान

कल, यानी 14 मई को अकोला (विदर्भ) में अधिकतम तापमान 43.0 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था।

सबसे कम तापमान

कल, देश के मैदानी इलाकों में फतेहगढ़ (पूर्वी उत्तर प्रदेश) में न्यूनतम तापमान 15.9 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था।

देश में कैसा रहेगा आज का मौसम

Source : IMD

आज  यानी 15 मई को पश्चिम मध्य प्रदेश, तटीय आंध्र प्रदेश और यनम, तेलंगाना, रायलसीमा, कर्नाटक, केरल और माहे और लक्षद्वीप में अलग-अलग हिस्सों में बिजली गिरने 30-40 किमी प्रति घंटे की दर से तेज हवाएं चलने के साथ-साथ बौछारें पड़ने का अनुमान है। जम्मू और कश्मीर, लद्दाख, गिलगित-बाल्टिस्तान और मुजफ्फराबाद, विदर्भ, छत्तीसगढ़, उप-हिमालयी पश्चिम बंगाल, सिक्किम और तमिलनाडु, पुडुचेरी और कराईकल में अलग-अलग जगहों पर बिजली गिरने और गरज के साथ बौछारें पड़ने के आसार हैं। 

आज कहां हो सकती है भयंकर बारिश

तटीय और दक्षिण आंतरिक कर्नाटक (घाटेरिया) में अलग-अलग जगहों पर बहुत भारी वर्षा होने का अनुमान है। तमिलनाडु, पुडुचेरी और कराईकल (घाट क्षेत्रों) में अलग-अलग जगहों पर भारी वर्षा होने का अनुमान है। मध्य महाराष्ट्र, उत्तरी आंतरिक कर्नाटक, तमिलनाडु, पुडुचेरी और कराईकल और लक्षद्वीप के घाट क्षेत्रों में कुछ स्थानों पर और उत्तरी कोंकण, केरल और रायलसीमा के अलग-अलग हिस्सों में भारी वर्षा होने के आसार हैं।

तेज हवाओं के साथ तूफान के आसार

आज यानी 15 मई की सुबह से पूर्वी मध्य अरब सागर और उससे सटे दक्षिणपूर्व अरब सागर और लक्षद्वीप क्षेत्र में 70-80 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चलने वाली हवा की गति खतरनाक रूप में 90 किमी प्रति घंटे तक पहुंचने की आशंका है। केरल और कर्नाटक तट पर 50-60 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चलने वाली हवा की गति 70 किमी प्रति घंटे तक पहुंचने की आशंका है। मन्नार की खाड़ी में 40-50 किमी प्रति घंटे की गति तक की तेज हवाएं चलने का अनुमान है।

ज्वार आने की चेतावनी

खगोलीय ज्वार से लगभग 1 मीटर की ऊंचाई की ज्वार की लहर से लक्षद्वीप द्वीप समूह के निचले इलाकों में बाढ़ आने के आसार हैं। मौसम विभाग के मछुआरों को चेतावनी दी है कि इन क्षेत्रों में मछली पकड़ने या व्यापार से संबंधित काम के लिए न जाएं।

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